दूसरी वेव शुरू होते ही क्राफेड के बैनर तले उन्होंने करोना हेल्पलाइन के जरिये हजारों लोगों की मदद की व अस्पताल बेड, ऑक्सीजन, फ़ूड, वेंटिलेटर ,वैक्सिनेशन /साइकोलॉजी कॉउंसिलिंग से सम्बंधित लोगों की हर समस्या का निदान करने में कोई कसर नहीं छोड़ी। उन्होंने डॉ. खरबंदा ने बताया कि फेक न्यूज इस पंडेमिक में एक बड़ी समस्या बन कर उभरा व कोरोना के डर ने भी लोगों की मानसिकता पर बहुत विपरीत प्रभाव डाला। हालांकि डॉक्टरों ने अपनी ओर से सही व सटीक जानकारी देने में भी कोई कमी नहीं रखी, लेकिन लाइव सेशन्स में भी वेक्सीन, करोना, पोस्ट कोविड केअर के सवालों की झड़ी कम नहीं हुई।
डॉ. खरबंदा ने जोर देकर कहा कि आमजन को व्हाट्सएप यूनिवर्सिटी से परहेज रखते हुए सिर्फ सत्यापित न्यूज पर ही भरोसा करना चाहिए व अफवाहों पर विश्वास नहीं करना चाहिए तथा सरकार व डॉक्टरों द्वारा प्रसारित जानकारी के अनुरूप ऐहतियात बरतते हुए महामारी से बचना चाहिए।
महामारी के दौरान नि:स्वार्थ सेवा के लिए डॉ. खरबंदा को एप्रिसिएशन सर्टिफिकेट से नवाजा रेडक्रॉस ने
महामारी के दौरान नि:स्वार्थ सेवा के लिए डॉ. खरबंदा को एप्रिसिएशन सर्टिफिकेट से नवाजा रेडक्रॉस ने
चण्डीगढ़ : इंडियन रेडक्रॉस सोसायटी, हरियाणा स्टेट ब्रांच, चण्डीगढ़ ने कोविड-19 महामारी के दौरान नि:स्वार्थ सेवा के लिए चण्डीगढ़ के पूर्व अस्सिटेंट प्रोफेसर व सीनियर होम्योपैथी चिकित्सक डॉ. एच.के. खरबंदा को एप्रिसिएशन सर्टिफिकेट से नवाजा है। डॉ. खरबंदा कोविड की शुरुआत से ही सोशल मीडिया के जरिये आमजन को कोरोना सम्बंधित जागरूकता अभियान चला रहे हैं। अपने फेसबुक व यूट्यूब चैनल के जरिए उन्होंने नियमित रूप से लाखों लोगों तक करोना से बचाव व उपचार व पोस्ट कोविड कॉम्पलीकेशन्स की सटीक जानकारी दी। उन्होंने अमेरिका में इंटरनल मेडिसिन के विश्व प्रसिद्ध चिकित्सक डॉ. रवि श्रीकांत गोडसे के साथ लाइव सेशन आयोजित कर आम जनता में महामारी से जुडी कई भ्रांतियों का निवारण किया व अनेक उपयोगी जानकारियां भी प्रदान की।