अयोध्या हो सकता है दुनिया का सबसे बड़ा मेडी सिटी!- डॉ विनोद के वर्मा
भगवान राम की कृपा से अयोध्या न केवल एक आध्यात्मिक स्थल होगा बल्कि मन एवं शरीर के लिए एक उपचार स्थल की भूमिका भी निभा सकता है – डॉ विनोद के वर्मा
योगीजी हैं तो मुमकिन हो सकता है! दुनिया का सबसे बड़ा मेडी सिटी- डॉ विनोद के वर्मा
अयोध्या में अन्तर्राष्ट्रीय स्वास्थ्य पर्यटन- भगवान के घर आएं और स्वास्थ्य लाभ पाएं- डॉ विनोद के वर्मा
समय आ गया है कि हम जय जवान-जय किसान के साथ जय विज्ञान और जय इंसान की भी क़द्र करें! डॉ विनोद के वर्मा
भगवान राम की कृपा से अयोध्या न केवल आध्यात्मिक स्थल होगा बल्कि मन एवं शरीर के लिए एक उपचार स्थल की भूमिका भी निभा सकता है। योगीजी हैं तो मुमकिन हो सकता है! – डॉ विनोद के वर्मा
जल्द ही भारत चीन को पीछे छोड़ दुनिया में सबसे ज़्यादा आबादी वाला देश बन जाएगा। कोविड-19 की दूसरी लहर से जूझने के दौरान हमने देखा कि किस तरह लोग मेडिकल ऑक्सीजन, बैड्स, आईसीयू एवं वैंटीलेटर सुविधाओं के अभाव में बिन पानी की मछली की तरह दम तोड़ रहे हैं। समय आ गया है कि हम पीछे मुड़कर देखें और खासतौर पर अपनी स्वास्थ्य प्रणाली को आधुनिक सुविधाओं से लैस बनाएंग, जो हमारे विशाल देश में मानवता की सभी ज़रूरतों को पूरा करने में सक्षम हो।
प्यार का प्रतीक ताजमहल आज भी अपनी जगह पर बरक़रार है और दुनिया भर में प्यार का संदेश बिखेर रहा है। हमें मनुष्य के जीवन के प्रति भी सम्मान रखना चाहिए।
हाल ही में हमने सरदार पटेल की मूर्ति बनाई जो दुनिया की सबसे बड़ी मूर्ति है, इस महान देश की एकजुटता में सरदार वल्लभभाई झावेरभाई पटेल के योगदान को सम्मानित करने के लिए इसे ‘स्टैच्यू ऑफ युनिटी’ का नाम दिया गया है।
हम भारत के उत्तर प्रदेश स्थित अयोध्या में भी सरयु नदी के किनारे भगवान राम की दुनिया की सबसे बड़ी मूर्ति बनाने जा रहे हैं।
अयोध्या में भगवान राम का मंदिर दुनिया का सबसे बड़ा मंदिर होगा, जो आधुनिक तकनीक से युक्त होगा और सही मायनों में आस्था का मंदिर होगा, जिसके साथ देश के तकरीबन 150 करोड़ लोगों की भावनाएं जुड़ी हैं।
अयोध्या में दुनिया का सबसे बड़ा अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा बनाने की योजना भी बनाई जा रही हैं
यह सराहनीय है कि आज हम बड़ा सोच रहे हैं और यही कारण है उत्तर प्रदेश, अब उत्तम प्रदेश बन गया है।
आइए उपरोक्त तथ्यों पर निम्न पहलुओं के अनुसार एक नज़र डालेंः
आइए अयोध्या को दुनिया के मानचित्र पर सबसे बड़ा आध्यात्मिक और चिकित्सकीय केन्द्र बनाएं, जो सभी आधुनिक तकनीकों और सुविधाओं के साथ चिकित्सा पर्यटन का केन्द्रबिन्दु बने |
इस दृष्टिकोण को श्री योगी जी के गतिशील नेतृत्व में साकार किया जा सकता है, जो प्रतिबद्धता और सक्रियता का प्रतीक हैं।
केन्द्र/ राज्य सरकार इन सुविधाओं के लिए बड़े पैमाने पर ज़मीन का अधिग्रहण कर सकती है, जो उपलब्ध है।
मेडिको-सिटी में विभिन्न प्रकार के मेडिकल कॉलेजों का निर्माण भी किया जाए, जहां एलोपैथिक, आयुर्वेद, यूनानी, होम्योपैथी और नैचुरोपैथी के क्षेत्र में सभी विश्वस्तरीय सुविधाएं हो |
मेडिकल कॉलेज में कम से कम 1000 यूजी और 500 पीजी सीटें एलोपैथी के लिए भी हो |
यहां एक ही परिसर में डॉक्टरों, नर्सों, पैरामेडिकल स्टाफ , मरीज़ों के लिए रिहायशी सुविधाएं भी हो |
यह अन्तर्राष्ट्रीय पर्यटन को बढ़ावा देगा- भगवान के घर आएं और स्वास्थ्य लाभ पाएं। इस संबंध में विभिन्न प्रकार के 7-10
दिनों का विभिन्न रीजनेबल पैकेजेस बनाए जाएं ताकि यात्री स्वास्थ्य लाभ लेकर, भगवान के दर्शन करके परिवार के साथ सकुशल घर वापसी जाए। सरकारी कर्मचारी को एलटीसी क्लेम करने की भी इस यात्रा में सुविधा हो।
नीति निर्माताओं को 10-20 साल की कर छूट के प्रावधान का फैसला लेना चाहिए।
संगठन एक ब्लॉक गोद ले सकते हैं और इस नेक कार्य में सहयोग दे सकते हैं। उन्हें कर की दृष्टि से फायदे मिले, साथ ही इसके ज़रिए वे अपनी सीएसआर प्रतिबद्धताओं को भी पूरा कर सकेंगे। इसे कॉर्पोरेट स्वास्थ्य ज़िममेदारी भी कहा जा सकता है, जिसमें कोई अतिरिक्त भार न हो |
एनआरआई और भारतीय निवेशकों को भी इसमें शामिल किया जाना चाहिए, उन्हें हर तरह से प्रेरित और प्रोत्साहित करना चाहिए।
परिसर में सभी सुविधाओं से युक्त विश्वविद्यालय भी होना चाहिए, जहां आवश्यकतानुसार दुर्लभ पाठ्यक्रम उपलबध कराए जाएं।
आइए मानवता की सेवा की शपथ लें, समय आ गया है कि हम अपने जन-धन का सम्मान करें। हमें अपने लोगों की ज़रूरत है ताकि यह महान देश अपने जोश और उत्साह के साथ सफलता की नई ऊँंचाईयों की ओर बढ़ता रहे।
अंत में, हमें जय जवान-जय किसान-जय विज्ञान और जय इंसान का सम्मान करना है।
जय हिंद-जय स्वास्थ्य