चंडीगढ़ कांग्रेस ने आज यहां न्याय पत्र नाम से जारी लोक सभा चुनावों के लिए अपने राष्ट्रीय घोषणा पत्र के विभिन्न मुख्य बिन्दुओं पर प्रकाश डालते हुए इसे देश के चौमुखी विकास एवं देश के किसानों, मजदूरों, युवाओं, महिलाओ और गरीब और मध्यमवर्गीय लोगों की प्रगति के लिए एक अभूतपूर्व दस्तावेज बताया। मीडिया कर्मियों को संबोधित करते हुए चंडीगढ़ कांग्रेस के अध्यक्ष एच.एस.लक्की ने कहा कि कांग्रेस पार्टी का यह न्याय पत्र उन सभी करोड़ों लोगों को आवश्यक राहत देने के लिए लाया गया है, जो भाजपा शासन के पिछले 10 वर्षों के अन्याय काल से जूझ रहे हैं।
कांग्रेस पार्टी के घोषणापत्र की मुख्य विशेषताओं को क्रमवार बताते हुए पूर्व सांसद पवन कुमार बंसल ने कहा कि यह राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्राओं के दौरान करोड़ों लोगों से गहन बातचीत का परिणाम है कि यह न्याय पत्र, जो कि कांग्रेस के समावेशी और सर्व जन हिताय के दृष्टिकोण के मैग्ना कार्टा के समान है, आज कांग्रेस के चुनावी घोषणा पत्र के रूप में सामने आ सका। उन्होंने कहा कि जून 2024 में इंडिया ब्लॉक की सरकार के सत्ता संभालने के बाद, अग्निपथ योजना, जिसने भारतीय रक्षा बलों की पुरानी भर्ती प्रक्रिया को तहस नहस कर दिया है, को समाप्त कर दिया जाएगा और भर्ती और प्रशिक्षण की पुरानी प्रणाली बहाल की जाएगी। सारे देश भर के किसानों को एमएसपी की कानूनी गारंटी दी जाएगी और किसानों के उपकरणों पर लगाए जा रहे सभी प्रकार के टैक्स भी ख़त्म कर दिए जाएंगे। बंसल ने अभी हाल में ही चण्डीगढ़ के प्रशासक द्वारा चण्डीगढ़ के चुने हुए मेयर से मुलाकात का समय देकर भी उनसे मिलने से इन्कार करने की आलोचना करते हुए कहा कि पंचायतों और नगर निकायों को सशक्त बनाया जाएगा और पांच साल के कार्यकाल के लिए लोगों द्वारा सीधे मेयर का चुनाव करने का प्रावधान को कानूनी मन्जूरी दी जाएगी। इसके अलावा, 30 लाख रिक्तियां पहले वर्ष में ही भरी जाएंगी, जिससे बेरोजगार युवाओं को सरकारी नौकरियां मिल सकेंगी। कांग्रेस मनरेगा की तर्ज पर शहरी गरीबों के लिए रोजगार गारंटी योजना भी शुरू करेगी। इसके अलावा, आर्थिक रूप से कमजोर महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए रु. गरीब परिवारों की सभी महिला मुखियाओं को 1 लाख रुपये हस्तांतरित किए जाएंगे।
मीडिया कर्मियों को संबोधित करते हुए, अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के चंडीगढ़ के संचार प्रभारी वीरेंद्र वशिष्ठ ने कहा कि कांग्रेस पार्टी लोगों के बीच बढ़ती आर्थिक असमानताओं को कम करेगी और देश में सामाजिक और आर्थिक न्याय सुनिश्चित करेगी और देश के तीव्र गति से सर्वांगीण विकास को सुनिश्चित करेगी, जो पिछले दस साल के अन्याय काल के दौरान पटरी से उतर गया है।