भारतीय सेना की इस कार्रवाई को पाकिस्तान की तरफ से बार-बार किए जा रहे संघर्षविराम उल्लंघन के जवाब के रूप में देखा जा रहा है. वहीं इस हमले में भारतीय पक्ष को किसी तरह की हानि की खबर नहीं.
बीते शनिवार ही पाकिस्तान ने नियंत्रण रेखा पर संघर्षविराम का उल्लंघन करते हुए भारी गोलीबारी की थी. इस हमले में सेना के एक मेजर और तीन जवान शहीद हो गए थे. इसके एक दिन बाद रविवार को भी नियंत्रण रेखा पर संघर्षपूर्ण स्थिति थी. हालांकि यहां भारतीय सेना ने हमले की ताक में बैठे पाकिस्तानी स्नाइपर को मार गिराया था.
इस बीच जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच मुठभेड़ की भी खबर है. सुरक्षाबलों की कार्रवाई में एक आतंकी मारा गया. इलाके में गोलीबारी अभी जारी है और सुरक्षाबलों ने इलाके को घेर रखा है.
बता दें कि जम्मू-कश्मीर में सेना, अर्धसैनिक बलों और पुलिस के ऑपरेशन से आतंकियों के पैर काफी हद तक उखड़ चुके हैं. कश्मीर में आतंक फैलाने में नाकामी के चलते पाकिस्तानी फौज और सीमापार बैठे आतंकियों के आका भी बौखलाए हुए हैं. यही वजह है कि पाकिस्तान इस साल नियंत्रण रेखा और अंतरराष्ट्रीय सीमा (आईबी) पर कुल 881 बार संषर्घ विराम का उल्लंघन कर चुका है, जो पिछले सात साल में किए गए संघर्षविराम उल्लंघनों का सर्वाधिक आंकड़ा है. इसमें 34 जवानों की मौत हो चुकी है.
अधिकारियों के अनुसार, पाकिस्तान ने इस साल के 10 दिसंबर तक नियंत्रण सीमा रेखा पर कुल 771 बार, जबकि इस साल के नवंबर के अंत तक अंतरराष्ट्रीय सीमा रेखा पर 110 बार संघर्षविराम का उल्लंघन किया है. इस तरह की घटनाओं में 14 सैन्यकर्मी, 12 असैनिक और चार बीएसएफ शहीद हो चुके हैं.