- 110 किलोमीटर से बाहरी जिलों से भी आना-जाना करते हैं अध्यापक, ट्रांसपोर्ट सुविधा न होने से स्कूल पहुंचने में जताई असमर्थता
दैनिक भास्कर
May 29, 2020, 07:30 AM IST
बठिंडा. सरकारी स्कूलों का ज्यादातर स्टाफ रूरल अलाउंस लेकर भी ड्यूटी स्टेशन पर नहीं ठहरता बल्कि सैकड़ों किलोमीटर दूर अपने गृह नगर ही वापस जाता है।
ऐसे भी अनेक कर्मचारी हैं जोकि बाहरी जिलों से भी अपने ड्यूटी स्टेशन के स्कूलों में ड्यूटी देने आते हैं। शिक्षा विभाग की ओर से बच्चों को ऑनलाइन पढ़ाई करवाने के लिए अध्यापकों को स्कूलों में हाजिर होने को कहा तो जिले के सैकड़ों अध्यापकों ने लॉकडाउन में ट्रांसपोर्ट न चलने की वजह से स्कूल पहुंचने में असमर्थता जताई।
हैरानी की बात तो यह है कि शिक्षा विभाग की ओर से इनके ड्यूटी स्टेशन पर नहीं ठहरने तथा सैकड़ों किलोमीटर दूर अन्य जिलों में अपने घर वापसी करने पर इन अध्यापकों से जवाब तलब नहीं किया गया।