- राज्य में बिजली के 3883 खंभे टूट गए हैं, 6 जिलों के कई क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति बाधित
- शिमला -3.7; 12 साल बाद इतनी ठंडी रात, मनाली में -7.8 तक पहुंचा न्यूनतम तापमान
Dainik Bhaskar
Jan 10, 2020, 09:41 AM IST
शिमला. बर्फबारी के बाद से कुल्लू-मनाली हाईवे समेत 5 नेशनल हाईवे और 1034 सड़कें आवाजाही के लिए पूरी तरह बंद हैं। सैकड़ों वाहन बर्फ में दबे व फंसे हुए हैं। हिमाचल में बिजली के 3883 खंभे टूट गए हैं जिससे 6 जिलों के कई क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति बाधित है। पानी की 67 स्कीमें भी प्रभावित हुई हैं।
शिमला में बर्फबारी के बाद चली शीतलहर से न्यूनतम तापमान में रिकॉर्ड गिरावट आई है। बुधवार रात को पारा -3.7 रहा, जो कि 12 साल बाद सबसे कम है। इससे पहले 2008 में -4.4 तक गया था। वहीं मनाली में सीजन की सबसे ठंडी रात रही। वहां तापमान -7.8 रिकॉर्ड किया गया। डलहौजी, लाहौल स्पीति, किन्नौर के भी बुरे हाल हैं। मणिकर्ण घाटी में घूमने गए उत्तर प्रदेश व दिल्ली के 12 लोग फंस गए थे। उन्हें सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया है।
सैकड़ों वाहन बर्फ में फंसे
शिमला का बुरा हाल है। पिछले कई दिनों से अपर शिमला का राज्य मुख्यालय से संपर्क कटा हुआ है। शिमला-रामपुर-रिकांगपिओ नेशनल हाईवे को बहाल नहीं किया जा सका। नौकरीपेशा लोगों को लगातार दूसरे दिन भी पैदल ही अपने काम पर जाना पड़ा। बंद सड़काें काे बहाल करने के लिए लोकनिर्माण विभाग द्वारा लगातार काम जारी है। सड़काें काे खाेलने के लिए 483 जेसीबी, टिप्पर और डोजर लगाए गए हैं। शिमला के ऊपरी इलाकों की सड़कों को बहाल करने में कुछ दिन लग सकते हैं। वीरवार को धूप निकलने से शिमला में थोड़ी राहत रही।
13 से फिर बर्फबारी की चेतावनी
बर्फबारी के बाद वीरवार काे शिमला समेत प्रदेश भर में माैसम साफ रहा। दिन भर धूप से लाेगाें काे ठंड से राहत मिली है। इससे शिमला का अधिकतम तापमान एक डिग्री से बढ़कर 8 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया है। शुक्रवार को भी माैसम साफ रहेगा। इसके बाद 11 से 15 जनवरी तक प्रदेश में माैसम फिर करवट लेगा। 13 जनवरी काे भारी हिमपात की चेतावनी जारी की गई है।
जंगी नाला, भगत नाला में ग्लेशियर गिरा
गुरुवार को तीसरे दिन भी किन्नौर के किसी भी संपर्क सड़क मार्ग पर हिमाचल पथ परिवहन निगम की एक भी बस नहीं चल पाई। यहां तक कि राष्ट्रीय उच्च मार्ग-5 पर भी कई स्थानों पर ग्लेशियरों के गिरने के साथ चट्टानें सहित लाहसों के गिरने से भी राष्ट्रीय उच्च मार्ग-5 भी कई स्थानों पर अवरुद्ध रहा। किन्नौर में तीन दिन तक बर्फबारी जारी रहने के कारण ऊंची पहाड़ियों पर अत्यधिक बर्फ इकट्ठा होने से कई नदी नालों में ग्लेशियर भी गिरे। किनौर जिले में भगत नाला सहित टिंकू नाला, जंगी नाला, किरंग खड्ड आदि स्थानों पर ग्लेशियर गिरे हुए हैं।