हिसार। यूनिवर्सिटी व कॉलेजों में गेस्ट फैकल्टी को अब 1500 रुपये प्रति लेक्चर मिल सकेंगे। यूजीसी ने कॉलेजों और यूनिवर्सिटी में गेस्ट फैकल्टी के तौर पर कार्य करने वाले लेक्चरर के मानदेय को बढ़ा दिया है। इस बारे में सभी उच्च शिक्षण संस्थानों को आदेश जारी किए हैं। हालांकि अधिकतम 50 हजार रुपये देने की बात कही है।
वहीं रिटायर्ड हो चुके टीचर भी गेस्ट फैकल्टी के तौर पर कार्य कर सकेंगे। इससे यूनिवर्सिटी व कॉलेजों के गेस्ट टीचर को लाभ मिलेगा। हालांकि इस मानदेय का लाभ लेने के लिए गेस्ट लेक्चरर का क्वालिफिकेशन रेगुलर लेक्चरर के समान ही रखा गया है।
गेस्ट लेक्चर को इस योजना का लाभ देने के लिए शिक्षण संस्थानों में सिलेक्शन कमेटी गठित की जाएगी। सिलेक्शन कमेटी में कुलपति या उनके द्वारा नामांकित सदस्यों के अलावा सब्जेक्ट एक्सपर्ट, डीन ऑफ कॉलेज व एससी-बीसी नॉमिनी भी शामिल रहेंगे। यह कमेटी विवि व कॉलेजों में असिस्टेंट प्रोफेसर की चयन प्रक्रिया के अनुसार ही गेस्ट फैकल्टी चुनेगी।
यूजीसी के अनुसार गेस्ट फैकल्टी की संख्या स्वीकृत पदों से अधिक नहीं की जा सकेगी। कुल सेंक्शन पदों की 20 प्रतिशत तक गेस्ट फैकल्टी की भर्ती की जा सकेगी। यूजीसी ने 70 वर्ष से कम आयु के रिटायर्ड टीचरों को भी राहत दी है। 70 वर्ष से कम आयु के लेक्चरर भी गेस्ट फेकल्टी के तौर पर यूनिवर्सिटी व कॉलेजों के लिए आवेदन कर सकेंगे।
कॉन्ट्रेक्ट लेक्चरर को मिलती है 35 हजार फिक्स सेलरी
जीजेयू व कॉलेजों में लगे काॅन्ट्रेक्ट लेक्चरर को 35 से 30 हजार की फिक्स सेलरी दी जाती है। पीएचडी क्वालिफाइड लेक्चरर को 35 हजार रुपये व बिना पीएचडी लेक्चरर को 30 हजार रुपये की फिक्स सेलरी दी जाती है। जीजेयू व शहर के 6 कॉलेजों में करीब 300 काॅन्ट्रेक्ट लेक्चरर है। वर्ष 2018 से अधिकतर लेक्चरर को काॅन्ट्रेक्ट के आधार पर रखा गया है।
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