अमृतसर/चंडीगढ़.2007 से 2017 के दौरान सरकार में रहते हुई गलतियों के लिए अकाली दल की लीडरशिप शनिवार को अकाल तख्त साहिब पर पेश होकर माफी मांगेगी। सरपरस्त पूर्व सीएम परकाश सिंह बादल, प्रधान सुखबीर बादल और केंद्रीय मंत्री हरसिमरत कौर के साथ इस मौके पर कोर-वर्किंग कमेटी, विधायक, हलका इंचार्ज, जिला-सर्किल प्रधान भी पश्चाताप करेंगे।
अखंड पाठ साहिब भी शुरू होगा। जिसका भोग 10 दिसंबर को डाला जाएगा। पार्टी प्रवक्ता विरसा सिंह वल्टोहा ने कहा कि सरकार चलाते जाने-अनजाने गलती भी हो जाती है। दूसरी तरफ पंजाब कांग्रेस प्रधान सुनील जाखड़ ने सुखबीर को चुनौती दी। कहा- वह श्री अकाल तख्त साहिब जाने से पहले संगत के सामने गुनाह कबूलें। ताकि संगत को पता चल पाए कि वह किसी गलती की माफी मांगने जा रहे हैं। वहीं, एसजीपीसी प्रधान गोबिंद सिंह लौंगोवाल ने कहा कि वह काेर कमेटी मेंबर के तौर पर वहां जाएंगे।
बेअदबी व डेरा विवाद ने किया नुकसान :
डेरा मुखी को नाटकीय ढंग से अकाल तख्त साहिब के तत्कालीन जत्थेदार ज्ञानी गुरबचन सिंह ने माफी दे दी थी। इसी तरह बेअदबी व गोलीकांड के बाद सिखों में अकाली दल के प्रति गुस्सा बढ़ा। इसी के साथ सरकार के दौरान अमृतसर में एक एएसआई को अकाली नेता ने गोली मार दी थी। इस मामले में भी पार्टी की किरकिरी हुई थी। इसी तरह बहुत सी अन्य घटनाएं ऐसी हुईं, जिनसे अकाली दल के वोट बैंक पर काफी असर पड़ा।
बादलों के गुनाह माफी योग्य नहीं:
लोक भलाई इंसाफ वेलफेयर सोसाइटी के प्रधान बलदेव सिंह सिरसा ने कहा कि बादलों के शासन में हुए गुनाह माफी योग्य नहीं हैं। वे संगत को गुमराह करने की कोशिश में हैं।
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